जन सेवा केंद्र पर फर्जीवाड़ा: बिना अधिकारी के हस्ताक्षर के जारी हुआ जन्म प्रमाण पत्र, अवैध वसूली का आरोप

फर्रुखाबाद। जनपद के अमृतपुर कस्बे से आज एक ऐसा मामला सामने आया है, जिसने शासन-प्रशासन की कार्यप्रणाली पर सवाल खड़े कर दिए हैं। यहां एक जन सेवा केंद्र से फर्जी जन्म प्रमाण पत्र जारी किए जाने का मामला प्रकाश में आया है।गूजरपुर निवासी श्यामाचरण नें आरोप लगाया है कि अपने बच्चे का आधार कार्ड बनवाने के लिए अमृतपुर आर्यावर्त ग्रामीण बैंक पहुंचे। तभी उन्हें पता चला कि बच्चे का जन्म प्रमाण पत्र फर्जी तरीके से तैयार किया गया है और इसके लिए उनसे अवैध वसूली की गई थी।

श्यामाचरण का कहना है कि उन्होंने यह प्रमाण पत्र कुछ समय पूर्व अमृतपुर स्थित जन सेवा केंद्र संचालक रवि सक्सेना से बनवाया था। इसके एवज में उनसे 200 से 400 रुपये तक लिए गए थे। उन्होंने बताया कि जानकारी के अभाव में उन्हें धोखे का एहसास नहीं हुआ, लेकिन जब बैंक में पता चला तो वे सीधे संचालक के पास पहुंचे। इस पर रवि सक्सेना ने पूरे मामले से पल्ला झाड़ लिया।

सबसे बड़ा सवाल यह है कि जन्म प्रमाण पत्र की प्रक्रिया कई अधिकारियों की पुष्टि और हस्ताक्षर के बाद ही पूरी होती है। ऐसे में बिना किसी अधिकारी की अनुमति और हस्ताक्षर के यह प्रमाण पत्र कैसे जारी हो गया? यह मामला प्रशासनिक लापरवाही के साथ-साथ भ्रष्टाचार की ओर भी इशारा करता है।क्या ऐसे व्यक्ति पे कार्यवाही करने से प्रशासन कतराहा है? क्या इसी तरह से अवैध वसुली होती रहेगी।