हिंडाल्को कंपनी ने 120 कर्मचारियों को नौकरी से किया बाहर कलेक्ट्रेट पहुंच कर्मचारियों ने बताई समस्या

रायगढ़। जिले में हिंडाल्को कंपनी की गारे पेलमा 4म4 कोल माइंस में कार्यरत कर्मचारियों को बिना पूर्व सूचना के नौकरी से निकाल दिया गया। इस कार्रवाई से नाराज बड़ी संख्या में कर्मचारी शुक्रवार को कलेक्ट्रेट पहुंचे और संयुक्त कलेक्टर को आवेदन देकर अपनी समस्याएं बताई।

कर्मचारियों का कहना है कि, वे पिछले 15 से 20 साल से लगातार कंपनी में कार्यरत हैं। पहले ये कर्मचारी मोनेट कंपनी के अधीन काम कर रहे थे। बाद में जब कोल माइंस का संचालन हिंडाल्को को मिला, तो वे हिंडाल्को कंपनी के अंतर्गत कार्य करने लगे। इसके बाद जब गारे पेलमा माइंस शारदा एनर्जी को आवंटित हुई, तब भी हिंडाल्को ने इन कर्मचारियों को शारदा एनर्जी में समायोजित नहीं किया और अपने अधीन ही रखा। करीब 120 कर्मचारी वर्षों से हिंडाल्को कंपनी में कार्यरत थे, लेकिन 15 दिसंबर को अचानक कंपनी प्रबंधन ने यह सूचना दी कि अब उनकी सेवाओं की आवश्यकता नहीं है।

कंपनी में निकाले गए कर्मचारियों की एंट्री बंद

कर्मचारियों को बताया गया कि, 18 दिसंबर उनका अंतिम कार्यदिवस होगा। इसके बाद बिना किसी पूर्व सूचना और नियमानुसार समय दिए उन्हें काम से हटा दिया गया। कर्मचारियों ने आरोप लगाया कि नियमानुसार नौकरी समाप्त करने से पहले कम से कम तीन महीने पहले सूचना दी जानी चाहिए थी, लेकिन कंपनी ने ऐसा नहीं किया। इसके साथ ही कंपनी ने कर्मचारियों की बायोमेट्रिक हाजिरी और एंट्री भी बंद कर दी। जिससे वे पूरी तरह बेरोजगार हो गए हैं।

प्रबंधन से बातचीत पर कोई समाधान नहीं

हिंडाल्को गारे पेलमा 4/4 में कार्यरत कर्मचारी गंगा शर्मा ने बताया कि, वे 15-20 वर्षों से कंपनी में काम कर रहे थे। 15 दिसंबर को अचानक सूचना दी गई कि अब कंपनी में उनकी जरूरत नहीं है। प्रबंधन से बातचीत करने पर केवल टालमटोल जवाब मिला और किसी तरह का समाधान नहीं दिया गया। वहीं, संयुक्त कलेक्टर राकेश कुमार गोलछा ने बताया कि बड़ी संख्या में कर्मचारी कलेक्ट्रेट पहुंचे हैं और उन्होंने 15 दिसंबर को की गई छंटनी को लेकर आवेदन सौंपा है। कर्मचारियों की शिकायतों के आधार पर श्रम विभाग के माध्यम से मामले का निराकरण कराने का प्रयास किया जाएगा।